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उत्तर प्रदेश

प्रसवों में कमी होने पर आशाओं पर हो कार्रवाई : डीएम

जिलाधिकारी अंकित कुमार अग्रवाल द्वारा संस्थागत प्रसवों में कमी होने पर कड़ी नाराजगी व्यक्त की गयी तथा सभी एमओआईसी को निर्देशित किया गया कि जिन आशाओं द्वारा पिछले तीन माह या उससे अधिक समय में कोई भी संस्थागत प्रसव नहीं कराया गया है, उन आशाओं के विरूद्व उचित कार्यवाही करना सुनिश्चित करें। उन्होंने प्राइवेट अस्पतालों में डिलीवरी का रुझान ज्यादा होने पर स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देश दिये कि सरकारी अस्पतालों में डिलीवरी का प्रतिशत बढाना सुनिश्चित करें। उन्होंने डिलीवरी रिपोर्ट की समीक्षा करते हुए कहा कि जिन सरकारी अस्पताल में आशाओं द्वारा एएमसी तो हो रही है, परन्तु डिलीवरी नहीं हो रही है उनका अपेक्षित डाटा ट्रैक करें। मुख्य चिकित्साधिकारी को निर्देश दिए कि संक्रामक बीमारियांें के बचाव के दृष्टिगत जिला अस्पताल सहित सभी स्वास्थ्य केन्द्रों में तैनात चिकित्सकों को ओपीडी नियमित रूप से करने तथा पैरामेडिकल स्टाफ से समयपूर्व ड्यूटी पर उपस्थित होने तथा सभी अस्पतालों में दवाएं, उपकरण, लॉजिस्टिक सहित सभी आवश्यक चिकित्सीय सेवाएं अद्यतन रखने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि इस समय संचारी एवं संक्रामक रोग फैलने की आशंका है, इसलिए सभी स्वास्थ्य केन्द्रों को इससे सफलतापूर्वक निपटने के लिए तैयार रखें।
उन्होंने कहा कि जिले में लोगों को समय पर बेहतर चिकित्सा सुविधाएं मुहैया कराने तथा चिकित्सा विभाग द्वारा संचालित योजनाओं एवं गतिविधियों का लाभ दिलाने के लिए सभी चिकित्सा अधिकारी सक्रिय रहकर कार्य करें। उन्होंने कहा कि समस्त चिकित्सा अधिकारी अपने क्षेत्र में मौसमी बीमारियों के संबंध में विशेष सतर्कता बरतते हुए जनसामान्य के लिए सभी स्वास्थ्य लाभ उपलब्ध कराने वाली आवश्यकताओं की पूर्व में पूर्ति ठीक रखें। उन्होंने टीकाकरण की समीक्षा में कहा कि शत् प्रतिशत टीकाकरण स्थित सुनिश्चित हो साथ ही डाटा फिडिग में किसी प्रकार की शिथिलता न बरती जाये।
उन्होंने समस्त एमओआईसी को निर्देश देते हुए कहा कि अधिक कुपोषित बच्चों का चिन्हांकन कर उन्हे जिला अस्पताल स्थित एनआरसी में भिजवाना सुनिश्चित करें। उन्होंने मुख्य चिकित्साधिकारी को निर्देश देते हुए कहा कि जिले के समस्त क्षय रोगियों की शत प्रतिशत एच०आई०वी० जांच कराना सुनिश्चित करे। उन्होंने जननी सुरक्षा योजना के गुणवत्तापूर्वक संचालन के लिए सभी एमओआईसी को निर्देश दिए कि संस्थागत डिलीवरी केस बढ़ाएं ताकि सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों की विश्वस्नीयता में वृद्धि हो सके।
उन्होंने कहा कि शासन की स्पष्ट मंशा है कि स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ निःशुल्क रूप में पूर्ण गुणवत्ता के साथ जनसामान्य को प्राप्त हो। उन्होंने सभी प्रभारी चिकित्साधिकारियों को निर्देश दिये कि जिले में जननी सुरक्षा योजना का संचालन पूर्ण गुणवत्ता और मानक के अनुरूप करना सुनिश्चित करें। उन्होंने स्वास्थ्य अधिकारी को निर्देश दिए कि सभी हेल्थ सब सेन्टर व वेलनेस सेन्टरों में बिजली, पानी व शौचालयों की व्यवस्था करना सुनिश्चित करें।
उन्होंने स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देश दिये की फैमिली प्लैनिंग का प्रतिशत एक गंभीर चिन्ता का विषय है इसको भी ध्यान से देखा जाना जरूरी है तथा आरसीएच पोर्टल पीएमएमविवाई में महिलाओं व बच्चों के रजिस्टेशन के प्रतिशत पर ध्यान देने के निर्देश स्वास्थ्य अधिकारियों को दिये। उन्होंने आरबीएसके, आशा भूगतान, एनबीसीपी, पुनरीक्षित राष्ट्रीय क्षय रोग कार्यक्रम, एम०डी०आर, एक्स०डी०आर, राष्ट्रीय वैक्टर जनित रोग नियंत्रण कार्यक्रम, एच0आई0वी0 एवं एड्स नियन्त्रण कार्यक्रम, राष्ट्रीय शहरी स्वास्थ्य मिशन, जैम पोर्टल, आयुष्मान भारत योजना आदि सभी विन्दुओं पर गहनता से विचार विर्मश कर उपस्थित अधिकारियों को सभी कार्यक्रमों में निर्धारित लक्ष्य के सापेक्ष कार्य को पूर्ण गुणवत्ता के साथ पूरा करने के निर्देश दिये।
इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी पूर्ण बोरा, मुख्य चिकित्साधिकारी डा० विजय कुमार गोयल के अलावा सभी उप मुख्य चिकित्साधिकारी तथा एमओआईसी मौजूद थे।

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