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खेल के मैदान पर भारत-पाकिस्तान खिलाड़ियों का हैंडशेक, खत्म हुआ पुराना हैंडशेक विवाद

भारत और पाकिस्तान के बीच खेल मुकाबले हमेशा से ही भावनाओं और प्रतिस्पर्धा से भरे होते हैं। लेकिन मलेशिया के जोहोर बाहरू में चल रहे सुल्तान ऑफ जोहोर कप हॉकी टूर्नामेंट में एक ऐसा नजारा देखने को मिला जिसने सबका ध्यान खींच लिया। भारत और पाकिस्तान की जूनियर टीमों के खिलाड़ियों ने मैच शुरू होने से पहले और बाद में हाथ मिलाकर उस विवाद को खत्म कर दिया जो एशिया कप क्रिकेट टूर्नामेंट से चला आ रहा था।

मैच का रोमांच, नतीजा रहा ड्रॉ

मंगलवार, 14 अक्टूबर को खेले गए इस मैच में दोनों टीमों ने शानदार खेल दिखाया और मुकाबला 3-3 की बराबरी पर समाप्त हुआ। कोई भी टीम विजयी नहीं बन सकी, लेकिन इस मैच ने स्कोर से ज़्यादा सुर्खियां खिलाड़ियों के आपसी व्यवहार को लेकर बटोरीं।
अंक तालिका में भारतीय टीम 3 मैचों में 2 जीत और 1 ड्रॉ के साथ 7 अंकों के साथ दूसरे स्थान पर पहुंच गई, जबकि पाकिस्तान 1 जीत, 1 हार और 1 ड्रॉ के साथ 4 अंकों पर तीसरे स्थान पर है।

क्रिकेट से शुरू हुआ था ‘नो हैंडशेक’ विवाद

यह हैंडशेक घटना इसलिए खास मानी जा रही है क्योंकि पिछले महीने हुए एशिया कप क्रिकेट टूर्नामेंट में भारतीय और पाकिस्तानी खिलाड़ियों ने एक-दूसरे से हाथ नहीं मिलाया था। भारतीय टीम ने सुरक्षा कारणों और ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के मद्देनज़र यह निर्णय लिया था। उस दौरान भारतीय पुरुष खिलाड़ियों के साथ-साथ महिला टीम ने भी महिला विश्व कप 2025 में पाकिस्तानी खिलाड़ियों से हैंडशेक करने से परहेज किया था।

भारतीय टीम ने न केवल मैच के दौरान किसी प्रकार की बातचीत से दूरी बनाए रखी, बल्कि ट्रॉफी लेने से भी इनकार कर दिया जब उसे पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड और एसीसी प्रमुख मोहसिन नकवी (जो पाकिस्तान के गृह मंत्री भी हैं) द्वारा प्रदान किया जाना था।

हॉकी में दिखा सामान्य और सकारात्मक माहौल

क्रिकेट में तनावपूर्ण माहौल के विपरीत, हॉकी के इस जूनियर मुकाबले में सब कुछ सामान्य रहा। राष्ट्रगान के बाद खिलाड़ियों ने हाई-फाइव किए, खेल के दौरान आपसी सम्मान दिखाया और मैच के अंत में हाथ मिलाया। पाकिस्तान हॉकी महासंघ (PHF) ने मैच से पहले अपने खिलाड़ियों को किसी भी तरह के टकराव से बचने और खेल पर ध्यान केंद्रित करने के निर्देश दिए थे। इस वजह से मैदान पर न केवल शानदार खेल देखने को मिला बल्कि दोनों देशों के खिलाड़ियों के बीच स्पोर्ट्समैनशिप की एक नई तस्वीर उभरी।

खेल ही जोड़ता है दिल — उदाहरण बना यह मैच

भारत और पाकिस्तान के बीच खेल मुकाबलों में राजनीति और भावनाएं अक्सर हावी रहती हैं। लेकिन हॉकी के इस मैच ने साबित कर दिया कि खेल में विरोध नहीं, सम्मान और जुड़ाव की भावना भी संभव है। हैंडशेक की यह घटना केवल एक औपचारिकता नहीं थी, बल्कि इसने क्रिकेट में शुरू हुए विवाद को सम्मानजनक अंत दिया।

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